पूर्व प्रधानमंत्री इंद्र कुमार गुजराल का निधन हो गया है. शुक्रवार को दोपहर साढ़े तीन बजे गुड़गांव के मेदांता अस्पताल में उन्होंने आखिरी सांस ली.
गुजराल
अरसे से बीमार चल रहे थे. गुजराल अप्रैल 1997 से मार्च 1998 तक देश के पीएम
रहे. वे कुल ग्यारह महीने तक देश के प्रधानमंत्री रहे. निधन की खबर के बाद
लोकसभा की कार्यवाही स्थगित कर दी गई है.
प्रधानमंत्री
बनने से पहले गुजराल 1996 में देवगौड़ा सरकार और 1989 में वीपी सिंह सरकार
में विदेश मंत्री रहे. वे इंदिरा गांधी की कैबिनेट में भी राज्यमंत्री
रहे. उन्हें बहुत ही कुशल और बेहतरीन कुटनीतिग के तौर पर जाना जाता था.
पड़ोसी देशों खासकर पाकिस्तान से संबंध सुधारने के लिए उन्होंने गुजराल
सिद्धांत दिया था.
पेश
से राजनयिक रहे गुजराल ने अपनी राजनीतिक करियर की शुरुआत कांग्रेस पार्टी
से की, लेकिन बाद में उनका कांग्रेस से मुंह भग हो गया और उन्होंने जनता दल
की डोर संभाल ली.
पहले वीपी सिंह और फिर देवगौड़ा सरकार में विदेश मंत्री बनाए गए, लेकिन जब 1997 में कांग्रेस ने देवगौड़ा सरकार से अपनी नाराज़गी जताई तो प्रधानमंत्री के उम्मीदवार के तौर पर झटके में इंद्र कुमार गुजराल का नाम आया और फिर वे प्रधानमंत्री बनाए गए.

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